गणेश पाण्डे की रिपोर्ट
आई विटनेस न्यूज 24, बुधवार 22 फरवरी,डिंडोरी। जिला मुख्यालय में स्थित यूनियन बैंक वैसे तो अच्छी सेवाएं देता है। अन्य पुराने बैंकों की तुलना में यहां की सेवाएं कुछ अच्छी है साथ ही यहां पर कर्मचारियों का व्यवहार भी कुशल है। लेकिन बैंक के बाहर एटीएम मशीन के साथ लगी पासबुक प्रिंटिंग मशीन कई महीनों से बंद पड़ी है। इसका खामियाजा बैंक के ग्राहकों को भोगना पड़ जाता है।
प्राप्त जानकारी के अनुसार सरस्वती शिशु मंदिर सुबखार का खाता यूनियन बैंक डिंडोरी में संचालित है। जिसमें हर दो-चार दिन में विद्यालय में प्राप्त शुल्क की राशि जमा करनी पड़ती है और पास बुक में इंट्री भी कराना होता है। लेकिन बाहर लगी पासबुक प्रिंटिंग मशीन महीनों से खराब है। जिसके कारण बैंक में जाकर पासबुक में एंट्री कराना पड़ता है। विगत दिनों पासबुक एंट्री करने वाले कर्मचारी द्वारा सरस्वती शिशु मंदिर से सुबखार के खाते में किसी दूसरे व्यक्ति के खाते की एंट्री कर दी गई ।जिस के संबंध में तुरंत बैंक के शाखा प्रबंधक से संपर्क कर नई पासबुक बनवा ली गई थी जिसे अभी ज्यादा समय नहीं हुआ है। आज दिनांक 22 फरवरी को पुनः पासबुक एंट्री हेतु दी गई। तो वहां काउंटर में उपस्थित कर्मचारी द्वारा फिर किसी दूसरे व्यक्ति के खाते की एंट्री कर दी गई। प्रधानाचार्य द्वारा जब पासबुक की जांच की गई तो पाया गया कि पासबुक में की गई पूरी एंट्री किसी दूसरे व्यक्ति के खाते की है जो गलत है। बैंक खाते में पिछला बैलेंस जोकि 182271 रुपए होना चाहिए था उसकी जगह 5135 रुपए दिखा दिया गया। फिर से पासबुक सुधार हेतु दिया गया।जिसे बैंक कर्मी द्वारा सुधार कर पुनः दूसरी पास बुक जारी की गई। प्राप्त जानकारी के अनुसार बैंक में नियमित कर्मचारियों की कमी होने के कारण बाह्य स्त्रोत कर्मचारी जैसे बैंक मित्र को काउंटर पर बैठा दिया जाता है। जो बिना देखे सुने मनमाने तरीके से किसी की पासबुक में किसी की भी इंट्री कर ग्राहकों को दे देते हैं। पढ़ा लिखा व्यक्ति तो देख कर समझ जाता है कि किसी दूसरे व्यक्ति के खाते की एंट्री कर दी गई है लेकिन जो व्यक्ति पढ़ा लिखा नहीं है उसे कुछ पता ही नहीं चल पाता। कि हमारे खाते में अचानक इतनी कम राशि कैसे हो गई जबकि हमने कोई भी राशि आहरण नहीं किया है। इस संबंध में जानकारी लेने के लिए जब बैंक मैनेजर से संपर्क करने का प्रयास किया गया तो बैंक मैनेजर के अवकाश में होने की जानकारी दी गई। बैंक को चाहिए कि जिन कर्मचारियों को जानकारी नहीं है उन कर्मचारियों के हवाले काउंटर नहीं करना चाहिए। क्योंकि जानकारी के अभाव में ये कर्मचारी किसी के खाते में किसी के खाते की गलत एंट्री कर देते हैं और अनावश्यक बैंक के ग्राहकों को परेशानी होती है।