जिले में बैंक और kyc सेंटर वाले मिल कर चला रहे क्या फ्रॉड रेकिट?जल्द प्रकाशित होगा जिले का एक मामला
आई विटनेस न्यूज 24, गुरुवार 20 अक्टूबर,डिजिटल लेन-देन के बढ़ते दौर में बैंक अकाउंट से धोखाधड़ी भी बढ़ी हैं. गैर कानूनी ढंग से बैंक अकाउंट से अनधिकृत लेनदेन होते हैं. इसे ऑनलाइन फ्रॉड, डिजिटल फ्रॉड या साइबर फ्रॉड की परिभाषा दी गई है. हैकर्स आपके अकाउंट की डीटेल हासिल करके उससे पैसे निकाल लेते हैं. अक्सर लोग यही मानते हैं कि उनका पैसा डूब गया. लेकिन, ऐसा नहीं है. RBI कहता है कि आपको आपका पूरा पैसा वापस मिल सकता है.
ज्यादातर लोगों के मन में अब सवाल उठता है कि अगर ऐसा कोई ट्रांजेक्शन हुआ है तो पैसा कैसे वापस मिलेगा? साथ ही बैंक खाते से पैसे निकलने पर शिकायत कर भी दी तो बैंक पैसे कहां से लौटाएगा. दरअसल, बैंकों की तरफ से ऐसे साइबर फ्रॉड के मद्देनजर इंश्योरेंस पॉलिसी ली जाती है. बैंक आपके साथ हुए फ्रॉड की सारी जानकारी सीधे इंश्योरेंस कंपनी को बताएगा और वहां से इंश्योरेंस के पैसे लेकर आपके नुकसान की भरपाई करेगा. साइबर फ्रॉड से बचने के लिए इंश्योरेंस कंपनियां भी लोगों को सीधे कवरेज दे रही हैं.
अगर आपके बैंक खाते से कोई गलत तरीके से रकम निकाल लेता है और आप तीन दिन के अंदर इस मामले के बारे में बैंक को शिकायत करते हैं तो आपको यह नुकसान नहीं उठाना पड़ेगा. अगर बैंक खाते से हुई धोखाधड़ी की रिपोर्ट 4-7 दिन बाद की जाती है, तो ग्राहक को 25,000 रुपए तक का नुकसान खुद उठाना होगा.